चीन DRAGON –इंडिया के लिये DARE-GUN और हम अपनी सीमाओं पर FEAR-GUN (डर क्यों ?) और दुनिया के लिये DRAG-ON, दुनिया को खीचकर अपने कदमों
मे झुकाओ...?
चीनी देश का कहना है
दुनिया... झुकती है ?.......
झुकाने वाला चाहिये ................??
चीन हमसे दो साल बाद आजाद होने के बाद ,हमसे दस गुना से ज्यादा आगे क्यो ??
1.देशी भाषा, देशी विचार, देशी संस्कार, देशी हत्यार, देशी हाथ, देशी बात.
क्या मजाल 18 से अधिक देशों से अपनी सीमा
लगाने के बावजूद एक भी घुसपैठिया देश में घुसे...,
जबकि हमारा देश घुसपैठिओ को
अतिथि वोट भव: का प्र्शय लेकर देश को टुकड़े करने की साजिस हो रही है
Wednesday, 16 December 2009 की खबर
विदेश मंत्नी एस एम कृष्णा ने आज लोकसभा में एक लिखित उत्तर
में बताया कि पाकिस्तान ने जम्मू कश्मीर में 78 हजार वर्ग किमी. तथा चीन ने 38 हजार वर्ग किमी. भूभाग पर अवैध रूप से कब्जा कर रखा है.
पाकिस्तान ने चीन को बतौर उपहार 5180 वर्ग किमी. भूभाग सौंपा है, जो: मूलत भारतीय है.
याद हमारी चीन के हाथों, हमारी हार के बाद , तबके संसद सदस्यो ने कसम ली थी, हम भविष्य मे, चीन द्वारा हमारी हडपी हुई जमीन का एक-एक इंच हिस्सा लडकर लेगे.
1962 के बाद,आज भी कैलाश मानसरोवर की यात्रा के लिए
चीन से हमें अनुमति लेनी पडती है?,
याद रहे इस हार के बाद तब जवाहरलाल नेहरू ने संसद मे बयान
दिया कि, कोई बात नही, कोई हर्ज नही, वह बर्फीली जमीन थी, वहाँ कुछ भी उगता नही था, तब विपक्ष के एक संसद सदस्य महावीर त्यागी
ने नेहरू को लताडते हुए कहा , ऐसे, तुम्हारा सर भी गंजा है, वहा भी, कुछ भी, उगता नही है, तो तुम भी अपना सर कटा कर चीन को क्यो नही
देते दो?
राष्ट्रपति ओबामा के कार्यकाल में अमेरिका द्वारा चीन के
सामने घुटने टेकते हुए कहा “तिब्बत चीन का अभिंन्न अंग
है “, इस जोश के बाद चीन की गिद्ध
दृष्टि अब दुगनी हो गई है अब उसकी नजर लद्दाख, सिक्किम, कश्मीर,उत्तराखड, हिमाचल प्रदेश के साथ नेपाल, भूटान जैसे देशों पर है।
चीन के राजनीतिक दर्शनशास्त्र में सहअस्तित्व, भाईचारा, नैतिकता और अंतरराष्ट्रीय नियमावली के लिए
कोई जगह नहीं है।
इंडिया..........हमारा देश,
डरता है ,,,,,,, डराने वाला चाहिये? .........
आज हमारे सत्ताधारी घोटाले,
काँग्रेस की सरकार विदेशी इशारे से आतंकवाद,जातिवाद,अलगाववाद, धर्मवाद के वोट बैक के झाँसे मे 2014 के चुनाव से राजनीती करके, भ्रष्टाचार को और अधिक सुन्दर रूप देने की
बाट जोह रहे है, और हमारे सीमा पर जवानो को
सीमाओं को पार करने की अनुमति नही है? क्योकि हम आधुनिक हत्यारो की कमी से जूझ
रहे है व वर्तमान हत्यारो से लडने पर, जवानो को वीरता का सम्मान नही मिल रहा है? यो कहें मेरे नजरों मे अब हमारी सीमायें
दुश्मनों के लिये खुली है?
मयह सुंनकर हास्यास्पद लगता है , अमेरिका हमे सुपर पावर कहता है, और हम विदेशी सेनाओ के घुसपैठ के आगे
नतमस्त हो जाते है,
चीन हमारे सीमाओ मे घुसकर , देश का पेट्रोल चुराकर , हमारे सैनिको को धमकाकर, पत्थरों मे चीनी भाषा मे लिखकर चले जाते
है, एक साल मे 300 बार घुसपैठ हो चुकी थी, सरकार इसका खंडन करती है,
अरूणाचल के काग्रेस् के मुख्यमंत्री दोरजी खांडू ने स्वय इस
बात की पुष्टी की थी एक साल मे 300 से ज्यादा बार घुसपैठ हो चुकी है , बाद मे उंनकी हेलिकेप्टर दुर्घटना मे मौत
हो जाती है, और वही, हिमांचल प्रदेश व उत्तराखंड के
मुख्यमंत्रीयों ने भी अपने प्रदेशो मे सकडों बार चीनी घुसपैठ की पुष्टी की है.
मीडिया द्वारा घुसपैठ का मुद्धा उठाने पर उन्हे धमकाकर, मीडिया की जुबान बन्द कर दी.
देश में बंगला देशी व रोहिग्या मुस्लिमों
को एक संगठित तौर से सीमा में घुसाकर वोट
बैंक की फसल लह लहराकर सत्ता की हरियाली से मलाई खाने का खेल अबाध रूप से चल रहा
है
अब इसका खामियाजा वर्तमान में मोदी सरकार को
भुगतना पड़ रहा है
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