आज का अर्जुन.., एक जूनून महा-भारत से विश्वगुरू बनाने को
आधुनिक गीता का संदेश के दंश से माफियाओं पर वार से प्रहार ..
१.
“जो आज तुम्हारा काला धन है आज ही गरीबों की झोली में जाएगा ..,
चुनाव के हमजोली के, काले धन के खेल से चंदे
की झोली भी तुम्हारे काम की नहीं रहेगी .”
२.
इस युद्ध में अब दानवीर चुनावी चंदों के कर्ण में
कोई भाई – भतीजावाद नही है, युद्ध की मर्यादा
(संविधान से अलग) व रोड़े लगाने वालों को चुन-चुन कर निशाना लगाऊंगा.
३.
अब देह शोषण /व्यापार
से देश की द्रोपदियों का चीर – हरण करने
वालों को निशाना बनाकर ख़त्म कर दूंगा.
४.
देश में आतंकवाद ,
जातिवाद , भाषावाद, अलगाववाद ,घुसपैठियों को इस रणभूमी में ख़त्म करने का मेरा प्रण
है .., भले ही मेरे प्राण चले जाये...
५.
देश के गद्धारों की गिद्ध नजर पर निशाना लगाऊंगा.
६.
देश के भू-माफियाओं को अब “माफ़ किया” की देश की ७० सालों लूट में खुली छूट के एक-एक
पाई का हिसाब लूंगा.
७.
अब चिड़िया की आँख पर ध्यान केन्द्रित करने
की बजाय पूरे देश की डाल –डाल , पात –पात के माफियाओं के देश के पते से
भ्रष्टाचारियों के पंछियोँ / पन्क्षियों के पेड़ को निशाना बनाऊंगा .
८.
अब इस रणभूमि में राजनीती नहीं राष्ट्र की
निति है.., देश की भूमि की गन्दगी की सफाई...,
इमानदारों को इनाम व बेईमानों को बे-मान कर, देश बनाऊंगा महान ...
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